पनागर ब्यूरो प्रकाश प्यासी
प्रशासन द्वारा कोरोना संक्रमण के चलते किसानों के खाद्यान्न की तुलाई के लिए केंद्र चालू कर दिए गए हैं, जिसमे प्रशासन द्वारा सोशल डिस्टेंसिंग को ध्यान में रखते हुए मानक आधार पर प्रत्येक दिन 6 किसानों को मैसेज के माध्यम से सूचित कर उनके गेंहू को मंडी परिसर में बुलाया जा रहा है, जिसमे सोशल डिस्टेंसिंग का पालन हो और किसानों की तुलाई भी होती रहे , पर कुछ केंद्रों में लॉक डाउन के चलते किसानों से प्रशासन द्वारा तय किये गए नियमों की धज्जियां उड़ाई जा रही हैं, लॉक डाउन में इन दिनों सिर्फ वही किसान अपना खाद्यान्न लेकर मंडी जा रहे हैं जिनको मैसेज के माध्यम से बुलाया जा रहा है, जिस पर भी केंद्र प्रभारी द्वारा भारी अनिमितताऐं की जा रही हैं
ठगे जा रहे किसान , सेटिंग से कहीं 40 किलो तो कहीं 51 किलो 300 ग्राम करा रहे तुलाई
इसके विपरीत पनागर की सिंगोद खरीदी केंद्र जहां प्रशासन द्वारा 2 उपकेंद्रों की तुलाई वेयर हाउस में कराई जा रही है वहां के सहायक केंद्र प्रभारी द्वारा कूछ किसानों की लगभग 2000 क्विंटल गेंहू 40 किलो के मानक से तुलाई कराई गई थी, इसकी भनक जैसे ही अन्य किसानों को लगी तो इनकी करतूत सामने उजागर हो गई, वहीं किसानों का कहना है कि उनसे प्रत्येक क्विंटल 30 रु की राशि भी बसूली जा रही है, साथ ही 200 ग्राम बजन वाली बोरी में 50 किलो 200 ग्राम की जगह 50 किलो 700 ग्राम गेंहू तोली जा रही है तो जूट वाली बोरियों में 50 किलो 700 ग्राम की जगह 51 किलो 300 ग्राम तोल की जा रही है, वहीं इनके करीबियों की 40 किलो की लगभग 2000 बोरियो की तोल कराई गई है, मोके पर किसानों ने मंडी स्थल में ही विरोध करना शुरू किया तभी जानकारी लगते ही जिला पंचायत अध्यक्ष मनोरमा पटेल भी मोके पर पंहुच गई, जिसके बाद उन्होंने मामले की सम्पूर्ण जानकारी लेकर गम्भीरता से लेते हुए अधिकारियों को सूचित किया जिस के बाद नायाब तहसीलदार नेहा जैन, थाना प्रभारी राजेन्द्र सोनी, फ़ूड अधिकारी एमएच खान जी, सहकारिता विस्तार अधिकारी नितिन मेहरा, जिला सहकारी बैंक मैनेजर नरेश यादव मोके पर पंहुचे, जहां किसानों ने केंद्र में सहायक प्रबंधक द्वारा की जा रही लापरवाहियों से अवगत कराया,
मैसेज से कई गुना अधिक हुई तुलाई, पल्लेदार के नाम से वसूल रहे ₹30 प्रति क्विंटल की राशि
किसानों ने संवाददाता को बताया कि उक्त केंद्र में सेटिंग वाले कुछ किसानों के पास 30 क्विंटल गेहूं का मैसेज आया है और वही उसके पास में 200 क्विंटल गेहूं उपज हुई है तो सहायक केंद्र प्रभारी द्वारा 30 क्विंटल की तुलाई ना करा कर पूरे 200 क्विंट की तुलाई कराकर केंद्र में रख दी गई है। जबकि नियमानुसार किसानों के मैसेज के आधार पर ही तुलाई होना चाहिए लेकिन केंद्र प्रभारी प्रबंधक की किसानों से मिलीभगत के चलते इन सब कार्यों पर अंजाम दिया जा रहा है वहीं प्रत्येक किसानों से ₹30 क्विंटल के हिसाब से राशि दी जा रही है जिसकी शिकायत मोके पर उपस्थित समस्त अधिकारियों से की गई साथ ही किसानों ने तीव्र विरोध किया, किसानों के विरोध के बाद अधिकारियों ने केंद्र प्रभारी की जमकर क्लास लगाई, जिसपर सहायक प्रबंधक द्वारा शासन से मिलने वाली राशि उपरांत किसानों के खाते में राशि वापस देने का लिखित पंचनामा तैयार कराया गया, साथ ही कम तोल की शिकायत मिलने के बाद मौके पर जांच करने पंहुची नायाब तहसीलदार नेहा जैन ने केंद्र में तोल की पाई गई लगभग 2069 कट्टीयां जिनकी तोल प्रत्येक बोरी 40 किलो तोल की पाई गई है जिसकी कई बोरिया वेयरहाउस के अंदर भी कर दी गई थी, उन सभी बोरियों की जांच कर उनकी जप्ती बनाकर वेयरहाउस को शील कर दिया गया है,
इनका कहना है –
शासन के आदेशानुसार बोरी के बजन के बाद 50 किलो गेंहू किसानों से लिया जाना है, किसानों से तुलाई के लिए किसी भी प्रकार की राशि लेना अनुचित है, शासन ने अधिक खाद्यान्न लेने एवं तुलाई के नाम पर किसानों से राशि लेने का कोई प्रावधान नही बनाया है – एम एच खान जी फ़ूड कंट्रोलर
शिकायत मिलने पर केंद्र की जांच की गई जिसमे लगभग 2000 बोरियां कम तुलाई की पाई गई जो 40 किलो के आधार पर तौल करा कर रखी गई थी जिनमें कुछ बोरियां वेयरहाउस के अंदर भी करा दी गई थी जांच उपरांत 2000 बोरियां की जप्ती बनाकर वेयरहाउस को सील कर दिया गया है – नेहा जैन नायाब तहसीलदार पनागर