बृहस्पतिवार को कहा कि वित्तमंत्री की घोषणा के तहत आठ करोड़ प्रवासी मजदूरों को दो महीने तक मुफ्त अनाज बांटने में कोई परेशानी नहीं होगी। राज्यों के भंडारगृहों में खाद्यान्न की पर्याप्त मात्रा है। उन्होंने कहा कि हमारा मंत्रालय प्रवासियों तक इस आपूर्ति को पहुंचाने के लिए पूरी तरह तैयार है। गरीब तबके के इन 10 फीसदी लोगों के पास कोई राशन कार्ड नहीं है। ऐसे में बिना राशन कार्ड अनाज वितरण की योजना से उन्हें बहुत लाभ पहुंचेगा।
पासवान ने कहा कि भारतीय खाद्य निगम को अनाज मुहैया कराने की जिम्मेदारी दी गई है, ताकि राज्यों को इसमें किसी प्रकार की बाधा न आए। आदेश पारित होते ही राज्य सरकारें जल्द भंडारगृहों से अनाज ले जाएंगी और सार्वजनिक वितरण प्रणाली के जरिये राशन बांटेंगी। राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा के तहत भी 40 लाख ऐसे लोगों को अनाज उपलब्ध कराया जाएगा, जिनके निवासी राज्यों की पहचान नहीं है। एफसीआई के पास 671 लाख टन खाद्यान्न उपलब्ध है।