मध्य प्रदेश के उज्जैन में एक महिला बंदी सेंट्रल जेल में बंद थी लेकिन स्वास्थ्य समस्या के चलते उसे इलाज के लिए जिला अस्पताल ले जाया गया था। इसके बाद जिला अस्पताल में तब हडकंप मच गया, जब वह महिला बंदी चकमा देकर अस्पताल के टॉयलेट में लगी खिड़की की जाली को तोड़कर फरार हो गई। घटना को कुछ समय बीत गया लेकिन बंदी को अस्पताल ले गए पुलिसकर्मियों को इस बात की भनक तक नहीं लगी। जब बंदी के भाग जाने की बात सामने आई तो पुलिसकर्मियों सहित जेल के अफसरों के हाथ-पैर फूल गए। इसके बाद जेल प्रशासन ने एक महिला और एक पुरुष प्रहरी को तत्काल प्रभाव से सस्पेंड कर दिया है।
मामले पर जानकारी देते हुए जेल अधीक्षक अलका सोनकर ने बताया कि सुनीता सोलंकी नाम की महिला धोखाधड़ी के एक मामले में जेल में बंद थी। पिछले कुछ दिनों से उसके सीने में दर्द की शिकायत की। जिसके बाद जेल अस्पताल में डॉक्टर ने चेकअप किया तो तो उसकी तबियत ठीक न होने के कारण उसे रात में ही महिला प्रहरी प्रेमलता कटारा और पुरुष प्रहरी विष्णुलाल के साथ जिला अस्पताल भेज दिया गया था।घटना के बाद पुलिस की टीम ने सुनीता की तलाश में उसके नागझिरी स्थित घर पर दबिश दी। लेकिन इस घटना के बारे महिला के परिजन भी पुलिस टीम को कुछ नहीं बता पाए। सुनीता के फरार हो जाने की घटना के बाद जेल अधीक्षक अलका सोनकर ने सेंट्रल जेल का रात में ही निरीक्षण भी किया।